- भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन ने सुबह 11.50 बजे श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से पीएसएलवी सी 57 के जरिए मिशन आदित्य एल1 लॉन्च किया।
- एस्ट्रोसैट (2015) के बाद आदित्य-एल1 इसरो का दूसरा खगोल विज्ञान वेधशाला-श्रेणी मिशन है।
- इसे सूर्य-पृथ्वी प्रणाली के लैग्रेंज पॉइंट L1 के चारों ओर एक प्रभामंडल कक्षा में स्थापित किया जाएगा।
- एल1 तक 1.5 मिलियन किमी की दूरी तय करने के लिए आदित्य-एल1 लगभग 100 दिनों की यात्रा करेगा।
- आदित्य एल1 मिशन पांच साल तक सक्रिय रहेगा। यह अपना पूरा मिशन जीवन L1 के चारों ओर अनियमित आकार की कक्षा में परिक्रमा करते हुए बिताएगा।
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